डूंगरपुर और बांसवाड़ा के लोगों के लिए खुशखबरी है। चिखली और आनंदपुरी के बीच माही नदी पर संगमेश्वर में बन रहा हैंगिंग ब्रिज लगभग बनकर तैयार हो गया है। इस ब्रिज के बनने से दोनों जिलों के बीच की दूरी कम हो जाएगी और लोगों को आवागमन में आसानी होगी। लोग पिछले 9 साल से इस ब्रिज के बनने का इंतजार कर रहे थे। कोटा के बाद डूंगरपुर का यह हैंगिंग ब्रिज प्रदेश का दूसरा हैंगिंग ब्रिज होगा। गुजरात से सटे डूंगरपुर के चिखली ग्राम पंचायत के बेडुवा गांव में माही-अनस और जाखम नदियों के त्रिवेणी संगम संगमेश्वर और बांसवाड़ा जिले के आनंदपुरी के बीच हैंगिंग ब्रिज का काम पिछले 9 साल से चल रहा है। इस ब्रिज को पिछली वसुंधरा सरकार के समय 2016 में मंजूरी मिली थी। माही नदी पर हाई लेवल ब्रिज बन रहा है, जो प्रदेश का दूसरा सबसे बड़ा हैंगिंग ब्रिज है। इसकी कुल लंबाई 1.925 किलोमीटर है। पिछले 9 सालों से इस पुल के निर्माण का इंतजार कर रहे लोगों के लिए खुशखबरी है। पुल का काम लगभग पूरा हो चुका है, सिर्फ फिनिशिंग का काम चल रहा है।
पुल के 20 जून से शुरू होने की उम्मीद
डूंगरपुर जिले के सीमलवाड़ा लोक निर्माण विभाग के अधिशासी अभियंता दिनेश पंड्या ने बताया कि भूकंप का भी पुल पर कोई असर नहीं पड़ेगा। करोड़ों रुपए की लागत से बने पुल की खासियत यह है कि जलस्तर बढ़ने पर अधिकारियों को पुल के क्षतिग्रस्त होने की जानकारी मिल जाएगी। वहीं, पुल का काम लगभग पूरा हो चुका है, अंतिम फिनिशिंग का काम बाकी है जो भी जल्द पूरा हो जाएगा और 20 जून तक यह पुल शुरू होने की उम्मीद है। इस पुल के बनने से चिखली से बेडुवा की दूरी 4 किमी और बेडुवा से आनंदपुरी की दूरी 4 किमी रह जाएगी।
115 किमी की दूरी घटकर 16 किमी रह जाएगी
आनंदपुरी से मानगढ़ की दूरी 8 किमी है। ऐसे में इस पुल के बनने के बाद चिखली से मानगढ़ की दूरी घटकर मात्र 16 किमी रह जाएगी। अभी चिखली से सागवाड़ा, परतापुर होते हुए मानगढ़ पहुंचने के लिए 115 किमी की दूरी तय करनी पड़ती है। पुल के बनने के बाद डूंगरपुर और बांसवाड़ा के लोगों का सफर आसान हो जाएगा और दूरी भी कम हो जाएगी। साथ ही पुल के बनने से रोजगार और पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा।